Personality of the month

उम्र से परे सेवा का दायरा रामनिवास लाहोटी

जीवनभर तो लोक निर्माण विभाग में अभियंता के रूप में मुख्य अभियंता के पद पर सेवा दी लेकिन सेवानिवृत्ति के बाद भी उनकी यह सेवा यात्रा थमी नहीं बल्कि चलती ही रही। गुना निवासी रामनिवास लाहोटी उम्र के उत्तरार्द्ध में भी इंजीनियर के रूप में अपनी सेवा दे रहे हैं।

लोक निर्माण विभाग से मुख्य अभियंता के पद से सेवानिवृत्त रामनिवास लाहोटी ने आजीवन अपनी महत्वपूर्ण सेवा दी है। सेवानिवृत्त का अर्थ आमतौर पर लोग अपने कर्त्तव्यों से निवृत्ति मानते हैं, लेकिन गुना निवासी श्री लाहोटी के लिए यह सत्य नहीं है। वे सेवानिवृत्ति के बाद भी बिना थमे अपनी सतत सेवा देते ही रहे।

सेवानिवृत्ति के पश्चात आपने अपने अनुभव व ज्ञान का लाभ और लोगों को भी मिले इस हेतु निर्माण कार्य में डिजाइन व मूल्यांकन करना एवं आवश्यक परामर्श प्रदान करने का कार्य जारी रखा। गुना बायपास के निर्माण में भी आपने चीफ प्रोजेक्ट मैनेजर के पद पर रहकर सेवाऐं दीं।


उच्च शिक्षित परिवार में लिया जन्म:

श्री लाहोटी का जन्म 20 जनवरी 1938 को गुना के ख्यात अभिभाषक स्वतंत्रता संग्राम सैनानी स्व. श्री रतनलाल लाहोटी के यहां हुआ। आपकी इंटरमीडिएट तक की शिक्षा गुना में हुई। तदंतर बीएससी की शिक्षा होल्कर कॉलेज इंदौर से करने के उपरांत वर्ष 1959 में मुंबई से बीई (सिविल) ऑनर्स की डिग्री प्राप्त की।

1960 में आप आगर-मालवा के प्रतिष्ठित अभिभाषक स्व. श्री नारायणदास बाहेती की पुत्री कांता बाहेती के साथ परिणय सूत्र में बंध गए। आपके परिवार में विवाहित होकर वर्तमान में दो पुत्र व एक पुत्री है।

आपके लघु भ्राता श्री रमेशचंद्र लाहोटी भारत के प्रधान न्यायाधीश पद को सुशोभित कर चुके हैं। अन्य भ्राताओं में डॉ. जीके लाहोटी (हृदय रोग विषेषज्ञ), श्री केके लाहोटी सेवानिवृत्त कार्य वाहक मुख्य न्यायाधीश (म.प्र. उच्च न्यायालय), ओमप्रकाश लाहोटी सेवानिवृत्त विकास अधिकारी एवं अनिलकुमार लाहोटी मुख्य प्रशासनिक अधिकारी (निर्माण) उत्तर रेलवे में पदस्थ हैं।


वर्तमान दौर में संयुक्त परिवार की व्यवस्था:

आपका परिवार एक संयुक्त परिवार है। सामाजिक कार्यक्रमों में पूरे परिवार की सदैव सक्रिय उपस्थिति रहती है। आपकी ही प्रेरणा से समाज के सभी कार्यक्रमों में संपूर्ण परिवार की आत्मीय उपस्थिति एवं उचित मार्गदर्शन सभी समाजजन को उत्साहित करता है।

शिक्षा पूर्ण करने के उपरांत आपने मध्यप्रदेश शासन के अधीन लोक निर्माण विभाग में कनिष्ठ उपयंत्री के पद पर सेवाएं शुरू की। पदोन्नत होते हुए लोक निर्माण विभाग में वर्ष 1994 में मुख्य अभियंता के पद पर पदोन्नत हुए।

1996 तक इस पद की जिम्मेदारी वहन करते हुए सेवानिवृत्त हुए। आपको बचपन से ही अच्छी पुस्तकें पढ़ने एवं उनके संग्रह करने का शौक रहा है। यही कारण है कि आपके पास अच्छे साहित्य की बहुत सुंदर लायब्रेरी है।

शासकीय सेवा के दौरान ही आपने समय निकालकर विधि स्नातक की डिग्री भी हासिल की।


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Sri Maheshwari Times

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